जबलपुर के हनुमानताल में मरे मिले हज़ारों पक्षी, मचा हड़कंप,जांच के आदेश

जबलपुर के हनुमानताल में मरे मिले हज़ारों पक्षी, मचा हड़कंप,जांच के आदेश

जबलपुर के हनुमानताल में मरे मिले हज़ारों पक्षी, मचा हड़कंप,जांच के आदेश
तालाब में मृत मिले पक्षी

लोकहित 24 जबलपुर. हनुमानताल तालाब में हजारों की तादात में गौरेया चिड़िया व अन्य पक्षियों के मृत पाए जाने से हड़कंप मच गया। मृत पक्षियों में दूर देश से आए प्रवासी पक्षी भी शामिल थे। सुबह मार्निंग वॉक करने वालों ने जब ये मंजर देखा तो वे अवाक रह गए। देखते ही देखते वहां प्रकृति-पक्षी प्रेमी पहुंचने लगे। ये घटना कैसे हुई इसकी जांच की जा रही है। दो चार पक्षी मरते तो इसे ठंड या समाान्य मौत के तौर पर देखा जाता, लेकिन चूंकि मृत पक्षियों की संख्या सैकड़ों में थी, इस कारण ये घटनाक्रम गंभीर हो गया।
चारों तरफ उतराए मृत पक्षी
तालाब के चारों तरफ  सैकड़ों की तादात में गौरेया चिड़िया व अन्य पक्षी मृत अवस्था में नजर आए। जिसने भी यह नजारा देखा, उसका हृदय रो पड़ा। सब एक-दूसरे से पूछते रहे इन निरीह पक्षियों को आखिर क्या हो गया? कैसे इतनी बड़ी तादात में पक्षी मृत हो गए। लोगों ने तत्काल वनविभाग के रेस्कयू दल को बुलाया गया जो मृत पक्षियों के शरीर का सेंपल लेकर गए हैं। इस बीच नगर-निगम के सफाई कर्मचारी भी नाव में उतरे और उन्होंने मृत पक्षियों को नाव के सहारे बाहर लेकर गए।
मौतों की जांच के आदेश
पक्षियों की मौतों के आदेश वन विभाग के अधिकारियों ने दिए हैं। अधिकारी-कर्मचारी भी हतप्रभ हैं कि ऐसा हुआ तो हुआ कैसे? इन मौतों का कारण जानने के लिए वेटरनरी चिकित्सा विभाग के  डॉक्टरों को कहा गया है जिनकी रिपोर्ट आने के बाद ही कुछ कहा जा सकेगा। कुछ लोग इसे ठंड और तालाब की गंदगी से जोड़कर देख रहे हैं। तो कई ऐसा भी मान रहे हैं कि  मोबाइल टावरों का रेडीशन के कारण भी पक्षियों की मौत हो सकती है।
होनी चाहिए निष्पक्ष जांच
इस बारे में प्रकृति प्रेमी और गौर रक्षक सेवा दल के मनीष नामदेव ने कहा कि घटना की जांच निष्पक्षता से होनी चाहिए। यदि तालाब का पानी गंदा है, तो वहां सफाई न होने के जिम्मेदार अमले पर कार्रवाई की जानी चाहिए। यहां मार्निं गवॉक करने वालों ने बताया कि सुबह-सुबह रोजाना की तरह जब हम टहलने व व्यायाम करने आए तो देखा कि तालाब में जहां देखों वही सुंदर-सुंदर पक्षी मरे पड़े थे। इनमें गौरैया चिड़ियाएं और सफेद पंख पूरे तालाब में फैले हुए देखा गया। जिसे कुछ देर बाद निगम सफाई कर्मचारियों ने तालाब को मृत पक्षियों की बाडी को अलग किया। इस सम्बंध में रेस्क्यू विभाग के गुलाब सिंह राजपूत ने बताया कि टीम सेंपल लेकर आई है कैसे पक्षियों की मौत हुई इसका पूरी रिपोर्ट विशेषज्ञ जांच करने के उपरांत ही बता पाएगे।
इनका कहना है
रेस्क्यू दल सैंपल लेकर आया है, जांच होने के बाद ही पूरी वास्तविक स्थिति सामने आयी है। चिकित्सक जल्द ही जांच पूरी करेंगे।
डॉ शोभा जांझरे,डायरेक्टर,
पशु चिकित्सा विभाग वेटरनरी महाविद्यालय

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